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HMPV Virus : चीन से भारत तक HMPV वायरस का सफर, अब आप भी खतरे में? बचाव के उपाय जानें

HMPV Virus First Case in India: कोविड-19 की भयावह यादें अभी धुंधली भी नहीं हुई थीं कि एक और खतरनाक वायरस ने दस्तक दे दी है। HMPV (ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस) नाम का यह जानलेवा वायरस भारत में अपने पैर पसारने लगा...
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HMPV Virus First Case in India: कोविड-19 की भयावह यादें अभी धुंधली भी नहीं हुई थीं कि एक और खतरनाक वायरस ने दस्तक दे दी है। HMPV (ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस) नाम का यह जानलेवा वायरस भारत में अपने पैर पसारने लगा है। आज, 6 जनवरी को देश में इसका पहला मामला सामने आने के बाद लोगों के बीच खौफ का माहौल बन गया है।

यह वही वायरस है जिसने चीन में हाहाकार मचाया था और अब इसके भारत पहुंचने से सतर्कता बरतने की जरूरत बढ़ गई है। HMPV इंसानों के श्वसन तंत्र को प्रभावित करता है और खासकर छोटे बच्चों के लिए (HMPV Virus First Case in India)यह बेहद खतरनाक साबित हो सकता है। वयस्क भी इससे अछूते नहीं हैं। इस वायरस के बढ़ते खतरे के बीच अब सवाल यह है कि क्या हम इससे बचने के लिए तैयार हैं? आइए, इस बीमारी के बारे में जानें और इसे रोकने के लिए जरूरी कदम उठाएं।

14 साल से कम उम्र के बच्चों पर ज्यादा असर

कोविड-19 महामारी के पांच साल बाद, चीन में एक और नया वायरस, एचएमपीवी (ह्यूमन मेटान्यूमोवायरस), तेजी से फैल रहा है, जिससे भयावह स्थिति पैदा हो गई है। भारत में भी इसके पहले मामले सामने आने के बाद माता-पिता में चिंता बढ़ गई है। यह वायरस मुख्य रूप से 14 साल से कम उम्र के बच्चों को प्रभावित कर रहा है। ऐसे में यह जानना बेहद जरूरी हो जाता है कि यह वायरस कैसे फैलता है, इसके लक्षण क्या हैं, और इससे कैसे बचा जा सकता है।

कैसे फैलता है HMPV वायरस?

एचएमपीवी वायरस मुख्य रूप से हवा के जरिए फैलता है। संक्रमित व्यक्ति के खांसने या छींकने से निकलने वाली छोटी बूंदें हवा में फैलती हैं और किसी स्वस्थ व्यक्ति को संक्रमित कर सकती हैं। इसके अलावा, यह वायरस उन सतहों पर भी जीवित रहता है, जिन्हें बार-बार छुआ जाता है, जैसे बच्चों के खिलौने, दरवाजों के हैंडल, या अन्य रोजमर्रा की चीजें।
यदि कोई व्यक्ति इन सतहों को छूने के बाद अपने मुंह, नाक या आंखों को छूता है, तो वह आसानी से संक्रमित हो सकता है।

एचएमपीवी के लक्षण

इस वायरस के लक्षण सामान्य सर्दी-जुकाम जैसे होते हैं, लेकिन कुछ मामलों में ये गंभीर रूप भी ले सकते हैं। लक्षणों में शामिल हैं:

बुखार

खांसी

बहती नाक

गले में खराश

सिरदर्द

मांसपेशियों में दर्द

थकान

छोटे बच्चों और कमजोर इम्यून सिस्टम वाले लोगों में यह संक्रमण गंभीर श्वसन समस्याओं का कारण बन सकता है।

एचएमपीवी का इलाज

इस वायरस का कोई विशेष टीका या विशिष्ट उपचार फिलहाल उपलब्ध नहीं है। आमतौर पर यह संक्रमण अपने आप ठीक हो जाता है। इसके लक्षणों को कम करने के लिए डॉक्टर निम्न उपाय सुझाते हैं:

दर्द और बुखार कम करने के लिए दवाएं

शरीर को हाइड्रेट रखने के लिए पर्याप्त तरल पदार्थ का सेवन

गंभीर मामलों में अस्पताल में ऑक्सीजन सपोर्ट या अन्य चिकित्सकीय देखभाल

एचएमपीवी से बचाव के उपाय

संक्रमित व्यक्ति से दूरी बनाएं और मास्क पहनें।

नियमित रूप से हाथ धोएं और हैंड सैनिटाइज़र का इस्तेमाल करें।

बच्चों के खिलौनों और घर की सतहों को नियमित रूप से साफ करें।

बच्चों को भीड़-भाड़ वाली जगहों पर जाने से बचाएं।

छींकने या खांसने के दौरान रुमाल या कोहनी का उपयोग करें।

इस वायरस से घबराने के बजाय सतर्कता और जागरूकता बनाए रखना ही सबसे बड़ा बचाव है। अपने बच्चों की सेहत का ख्याल रखें और किसी भी असामान्य लक्षण दिखने पर तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।

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