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"गिर्राज मलिंगा करें 30 दिन में सरेंडर..." JEN मारपीट मामले बाड़ी के पूर्व MLA को राजस्थान हाईकोर्ट से झटका 

Girraj Singh Malinga Case: राजस्थान में धौलपुर के बाड़ी से पूर्व कांग्रेस विधायक गिर्राज सिंह मलिंगा को एक बार फिर कोर्ट से बड़ा झटका लगा है. मिली जानकारी के मुताबिक राजस्थान हाईकोर्ट ने गिर्राज सिंह मलिंगा की जमानत रद्द करने...
05:25 PM Jul 05, 2024 IST | Rajasthan First

Girraj Singh Malinga Case: राजस्थान में धौलपुर के बाड़ी से पूर्व कांग्रेस विधायक गिर्राज सिंह मलिंगा को एक बार फिर कोर्ट से बड़ा झटका लगा है. मिली जानकारी के मुताबिक राजस्थान हाईकोर्ट ने गिर्राज सिंह मलिंगा की जमानत रद्द करने के आदेश जारी करते हुए मलिंगा को 30 दिनों के भीतर सरेंडर करने के लिए कहा है. राजस्थान हाईकोर्ट ने बहुचर्चित बाड़ी विद्युत निगम कार्यालय के सहायक अभियंता हर्षाधिपति के साथ मारपीट मामले में जस्टिस फरजंद अली की एकल पीठ ने यह आदेश जारी किया जहां वरिष्ठ अधिवक्ता एके जैन और मालती की पैरवी पर जमानत को खारिज किया गया.

मालूम हो कि घटना के बाद 2 दिन जेल जाने के बाद मलिंगा ने जमानत ली थी जिसके बाद से वह लगातार बाहर ही थे. इस मामले को लेकर पीड़ित के वकील एके जैन ने जानकारी दी कि 2 साल बाद आज कोर्ट ने गिर्राज सिंह मलिंगा को 30 दिन के अंदर सरेंडर करने का आदेश दिया है. वहीं कोर्ट ने माना है कि गिर्राज सिंह मलिंगा ने झूठ बोलकर जमानत ली और जमानत पर बाहर जाने के बाद इसका दुरुपयोग भी किया. वहीं बेल के बाद मलिंगा ने जूलुस निकाल कर कोर्ट के आदेश को भी मजाक बनाया.

मलिंगा पर लगे हैं मारपीट के आरोप

पीड़ित के वकील ने बताया कि गिर्राज सिंह मलिंगा ने जमानत मिलने के बाद पीड़ित को धमकाया और जुलूस निकालकर कानून का मजाक भी बनाया. उन्होंने कहा मलिंगा की मदद तत्कालीन एवं वर्तमान दोनों सरकार ने की है। उन्होंने कहा 2 साल बाद अनुसूचित जाति के अभियंता को कोर्ट की तरफ से न्याय मिला है। वकील ने आगे कहा कि पीड़ित सहायक अभियंता हर्षाधिपति अभी भी जयपुर के एसएमएस अस्पताल में है ऐसे में गिर्राज सिंह की जमानत निरस्त होना राजनेताओं के लिए भी एक संदेश है कि अगर कोई गलत तरीके से जमानत हासिल कर लेता है तो कानून मदद करता है.

प्रदेश में सुर्खियों में रहा था मामला

मालूम हो कि 28 मार्च 2022 को बाड़ी उपखंड के विद्युत निगम कार्यालय पर तैनात सहायक अभियंता हर्षाधिपति के साथ करीब एक दर्जन लोगों ने बेरहमी से मारपीट की थी। सहायक अभियंता से मारपीट के आरोप पूर्व विधायक गिर्राज सिंह मलिंगा पर लगे थे। सहायक अभियंता से मारपीट के मामले में पूर्व विधायक गिर्राज सिंह मलिंगा ने राजनीतिक दबाव के चलते 11 मई 2022 को जयपुर में पुलिस कमिश्नरेट के समक्ष सरेंडर किया था और पांच आरोपियों को सीआईडी सीबी ने तीन अप्रैल 2022 को गिरफ्तार किया था.

विद्युत निगम के सहायक अभियंता हर्षाधिपति के साथ की गई मारपीट का मामला राजस्थान प्रदेश में बहुचर्चित रहा था। तत्कालीन समय में प्रदेश के राजनेताओं के लिए यह मामला सुर्खियां बन गया था. मारपीट के आरोप पूर्व विधायक गिर्राज सिंह मलिंगा पर लगने के बाद प्रदेश में दलित एवं अनुसूचित जाति के लोगों ने विरोध प्रदर्शन भी किया था. तत्कालीन समय के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने दबाव देकर गिर्राज सिंह मलिंगा को सीआईडी सीबी के समक्ष सरेंडर कराया था.

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