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1 अप्रैल से RSSB में बड़ा बदलाव, 750 रुपए जुर्माना क्यों बढ़ा? जानें इसके पीछे की सच्चाई!

बेरोजगारी की मार झेल रहे अभ्यर्थियों पर अब सरकार ने नया आर्थिक बोझ डाल दिया है।
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RSSB exam new rule: राजस्थान में सरकारी नौकरी की तैयारी कर रहे युवाओं के लिए एक बुरी खबर सामने आई है। बेरोजगारी की मार झेल रहे अभ्यर्थियों पर अब सरकार ने नया आर्थिक बोझ डाल दिया है। राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड (RSSB) ने एक नया नियम लागू किया है, जिसके तहत अगर कोई उम्मीदवार भर्ती परीक्षा के लिए आवेदन करने के बाद उसमें शामिल नहीं होता, तो उसे भारी जुर्माना चुकाना होगा। यह नियम 1 अप्रैल 2025 से लागू किया जाएगा और इसकी वजह से हजारों छात्रों को परेशानी का सामना करना पड़ सकता है।

सरकार के इस नए फैसले के मुताबिक, अगर कोई अभ्यर्थी दो बार परीक्षा में शामिल नहीं होता, तो अगली बार आवेदन करने से पहले उसे 750 रुपए का अर्थदंड देना होगा। (RSSB exam new rule)इतना ही नहीं, अगर कोई छात्र लगातार चार परीक्षाओं में अनुपस्थित रहता है, तो उसे अगली बार परीक्षा के लिए आवेदन करने से पहले 1500 रुपए का जुर्माना भरना पड़ेगा। यह फैसला उन छात्रों के लिए एक बड़ा झटका साबित हो सकता है, जो पहले ही महंगी कोचिंग, किताबों और अन्य खर्चों के कारण आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं।

कैसे लगेगा जुर्माना? जानें नया नियम

राजस्थान कर्मचारी चयन बोर्ड (RSSB) ने भर्ती परीक्षाओं में अनुपस्थित रहने वाले अभ्यर्थियों पर सख्ती करने का फैसला किया है। 1 अप्रैल 2025 से लागू होने वाले नए नियम के तहत यदि कोई उम्मीदवार परीक्षा के लिए आवेदन करने के बाद दो बार गैरहाजिर रहता है, तो उसे 750 रुपए का जुर्माना भरना होगा। यह पेनल्टी सिर्फ एक परीक्षा के लिए नहीं, बल्कि दो परीक्षाओं में अनुपस्थित रहने पर लागू होगी।

750 नहीं, 1500 रुपए भी भरने पड़ सकते हैं!

नए नियमों के मुताबिक, यदि कोई अभ्यर्थी एक वित्तीय वर्ष (1 अप्रैल 2025 – 31 मार्च 2026) के भीतर लगातार दो परीक्षाओं में गैरहाजिर रहता है, तो उसे अगली बार आवेदन करने से पहले 750 रुपए की पेनल्टी देनी होगी। लेकिन अगर वह चार परीक्षाओं में भी अनुपस्थित रहता है, तो 1500 रुपए का जुर्माना लगेगा।

बोर्ड ने क्यों लिया यह सख्त फैसला?

बोर्ड अध्यक्ष आलोक राज ने बताया कि हर साल लाखों अभ्यर्थी परीक्षा के लिए आवेदन करते हैं, लेकिन बड़ी संख्या में अनुपस्थित रहते हैं। इससे बोर्ड को आर्थिक नुकसान होता है और परीक्षा प्रक्रिया पर भी असर पड़ता है। इस समस्या से बचने और केवल गंभीर अभ्यर्थियों को आवेदन के लिए प्रेरित करने के लिए ही यह जुर्माने का नियम लागू किया जा रहा है।

बेरोजगारी के दौर में बढ़ा आर्थिक बोझ

राजस्थान में पहले से ही बेरोजगारी एक बड़ी समस्या बनी हुई है। सरकारी नौकरियों की परीक्षाएं पास करना दिन-ब-दिन मुश्किल होता जा रहा है। लाखों युवा महंगी कोचिंग, किताबों और अन्य संसाधनों पर पहले ही भारी खर्च कर रहे हैं। अब इस नए नियम से उन पर अतिरिक्त आर्थिक दबाव आ सकता है, जिससे उनकी परेशानियां और बढ़ेंगी।

क्या सरकार इस फैसले को बदलेगी?

अब सबसे बड़ा सवाल यह है कि क्या सरकार और कर्मचारी चयन बोर्ड छात्रों की आवाज सुनेंगे? अगर विरोध बढ़ता गया, तो क्या सरकार इस नियम को वापस लेने पर विचार करेगी, या फिर बेरोजगार युवाओं को 750 से 1500 रुपए तक का जुर्माना चुकाना ही पड़ेगा?

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